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शेयर बाजार में फॉर्मूला वन का फर्राटा

Priya Esselborn२२ मार्च २०१२

फॉर्मूला वन की कारें अब शेयर बाजार में भी दौड़ लगाएंगी. फर्राटा कार रेस के मालिकों ने एशियाई बाजारों तक कारोबार फैलाने का फैसला किया है. इलाके में संभावनाएं अपार हैं और खेल कंपनियां इसे भुनाना चाहती हैं.

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तस्वीर: Reuters

फॉर्मूला वन  की रेस को करीब 50 लाख लोग देखते हैं. लंबे समय से इसमें साझीदारों को बढ़ाने की मांग अब और अनसुनी करना मुमकिन नहीं हो पाएगा. मामला ज्यादा गंभीर इसलिए हो गया है कि क्योंकि इस साल रेस में शामिल होने वाली टीमों और फॉर्मूला वन रेस के मालिकों के बीच एक भरोसेमंद व्यवसायिक करार खत्म हो रहा है.

निजी इक्विटी कंपनी सीवीसी कैपिटल ने 2006 में एफ 1 के ज्यादातर शेयरों को खरीद कर इसका मालिकाना हक अपने कब्जे में कर लिया और वो अभी भी इसे अपने हाथ में ही रखेगी. इसके कुछ हिस्से के लिए शेयर बाजार में इसका आईपीओ लाने की तैयारी चल रही है. इसके साथ ही दक्षिण पूर्वी एशियाई देश सिंगापुर से कोई अच्छा साझीदार तलाशने की भी कोशिश की जा रही है.

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तस्वीर: Reuters

सीवीसी कैपिटल ने गोल्डमैन सैक्स को साझीदार तलाशने की जिम्मेदारी सौंपी है. ब्रिटेन के स्काई न्यूज ने इस बारे में खबर दी है. हालांकि स्काई न्यूज की रिपोर्ट पर सीवीसी और गोल्डमैन सैक्स ने कोई प्रतिक्रिया देने से इनकार कर दिया है. सीवीसी के पास एफ1 के 63.4 फीसदी शेयर हैं. अगर 15 फीसदी हिस्सेदारी भी बांटने की सोची गई तो यह सौदा करीब 1.5 अरब अमेरिकी डॉलर का होगा.

एशिया में हलचल

81 साल के बर्नी एकेल्स्टॉन के बेहतर मैनेजमेंट ने फॉर्मूला वन रेस की रफ्तार से पिछले कुछ सालों में एशियाई लोगों को बेचैन कर दिया है. एकेल्स्टॉन के कुशल नेतृत्व में अब फॉर्मूला वन कारें यूरोप की सड़कों से निकल कर भारत और दूसरे एशियाई देशों की गलियों में धुआं उड़ा रही हैं. 2008 में सिंगापुर से इसकी शुरुआत हुई. निवेशकों का रिस्पांस कैसा होगा फिलहाल अभी कहना मुश्किल है. हां इतना जरूर है कि इसके बड़े ब्रांड और लोगों में इसकी दिलचस्पी कुछ उम्मीद जगा रही है.

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तस्वीर: AP

एफ 1 सीरीज की सालाना बिक्री करीब 1.55 अरब डॉलर की होती है और सीवीसी की वेबसाइट के मुताबिक इसमें करीब 200 लोग नौकरी करते हैं. इसी रविवार को ऑस्ट्रेलियाई ग्रां प्री के साथ शुरू हुई फॉर्मूला वन की दौड़ से इस साल की कमाई का आंकड़ा 2 अरब डॉलर को पहली बार पार कर जाएगा.

हाल ही में एक रिपोर्ट आई थी कि अमेरिका और रूस में नए रेस शुरू होने से फॉर्मूला वन के व्यावसायिक अधिकारों से कमाई में करीब 50 फीसदी का इजाफा होगा और 2015 तक इसके 2.9 अरब डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है. इस कमाई में टीमों को पुरस्कार के रूप में मिलने वाली रकम की हिस्सेदारी करीब आधी है. इटली की फरारी को थोड़ा ज्यादा पैसा मिलता है क्योंकि यह सबसे पुरानी और सबसे विख्यात टीम है.

रिपोर्टः रॉयटर्स/एन रंजन

संपादनः महेश झा

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